human heart and work | मानव हिर्दय की सरंचना और इसकी कार्य विधि

इंसान का हिर्दय human heart – नमस्कार दोस्तो आज हम आपके लिए  मानव शरीर की एक बहुत ही रोचक जानकारी ले कर आए है | ये रोचक जानकारी है मानव हिर्दय (human heart) कैसे काम करता है ? आज हम जानेंगे मानव हिर्दय  क्या है ?मानव हिर्दय  की संरचना | मानव हिर्दय  कैसे काम करता है ? मानव हिर्दय  की क्षमता कितनी है ? इंसान का हिर्दय कैसे कम करता है ?समझिए विस्तार से |

 

सरल भाषा मे जाने क्या है हिर्दय, इसकी सरंचना और इसकी कार्य विधि | human heart 

इंसान का हिर्दय शरीर मे छाती के बीचों बीच थोड़ा सा बाए फेफड़े की तरफ होता है। एक सामान्य हिर्दय एक बार मे 72 बार धड़कता है और पूरे शरीर मे जाल की तरहा फैली हुई वाहिनियों के द्वारा रक्त को शरीर के कोने कोने तक पहुंचाता है। इसी रक्त संचार प्रक्रिया मे पोषक तत्वों को भी शरीर के सभी भागो मे पहुंचाता है। 

 

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सामान्य स्थिति में ह्रदय प्रति मिनट शरीर में 6 से 7 लीटर रक्त का परिसंचरण करता है। लेकिन दौड़ते समय या अन्य कठोर शारीरिक परिश्रम करते समय यह 20 से 30 लीटर खून परिसंचरणकरता हैहृदय 3 माह के गर्भस्थ भ्रूण से लेकर मनुष्य के जीवित रहने तक लगातार कार्य करता है।human heart
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शरीर से अलग होने के बाद भी धड़कता रहता है दिल – 
ताज्जुब की बात है की इंसान के भ्रूण मे 23वेदिन से ही हिर्दय का धड़कना शुरू हो जाता है
यह आश्चर्य जनक है की हिर्दय को शरीर से अलग करने के बाद भी हिर्दय धड़कता रहता है,और तब तक धड़कता रहता है
जब तक इसे पर्याप्त मात्रा मे ऑक्सीज़न मिलती  रहती है क्यों की इसका खुद का विद्धुत आवेग होता है।human heart
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9000 लीटर रक्त पम्प कर देता है
विश्राम अवस्था मे हमारा हिर्दय एक मिनट मे 72 बार धड़कता है।
कठिन परिक्ष्रम के समय या दौड़ते वक्त हिर्दय की गति 220 तक पहुच जाती है।
एक स्वस्थ व्यक्ति का हिर्दय 24 घंटे मे 100000 बार से भी अधिक  धड़कता है तथा करीब 9000 लीटर रक्त पूरे शरीर मे संचार करता है।
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हिर्दयका वज़न और आकार
दिल का वजन 250से 350 ग्राम है यह 12 सेंटीमीटर लंबा, 8 सेंटीमीटर चोड़ा, और 6 सेंटीमीटर मोटा यानि आपकी दोनों हाथो की मुट्ठी के आकार का होता है।
दिल एक मिनट मे 72 बार, एक दिन मे लगभग एक लाख बार से भी ज़्यादा और पूरी ज़िंदगी मे लगभग 2.5 अरभ बार से भी अधिक धड़कता है।human heart
हिर्दय की तीव्रता-
नए पैदा हुए बच्चे की दिल की धड़कन सबसे अधिक तेज़ होती है 70-160 बीट प्रति मिनट और बुढ़ापे मे दिल की धड़कन सबसे धीरे होती है 13-40 बीट प्रति मिनट।
अभी तक किसी इंसान की सबसे कम धड़कन 26 बीट प्रति मिनट और सबसे ज़्यादा धड़कन 480 बीट प्रति मिनट रेकॉर्ड की गई है।human heart
हिर्दय की सरंचना
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इंसान का हिर्दय शरीर मे छाती के बीचों बीच थोड़ा सा बाए फेफड़े की तरफ होता है।
इंसान के हिर्दय की आंतरिक सरंचना मे हिर्दय 4 वेशमों का बना होता है ।
दो अलिंद (artrium) और दो निलय (ventricles)
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दोनों अलिंद अंदरूनी अलिंद पट्टी द्वारा भिन्न होते है अंदरूनी अलिंद पट्टी (inter articulam septum) पर एक छोटा
सा गढ़्ढ़ा होता है जिसे कोस ओवेलिस कहते है यह वास्तव मे भ्रूणास्थ अवस्था मे पाए जाने वाले छिद्र फ़ोरामेन ओवेलिस का अवशेस होता है।human heart
दाहिने अलिंद मे मोटी महाशिरए अलग अलग छिद्रो द्वारा खुलती है जिनहे अग्र्र्महाशिरा अर्थात “इंफीरियर वेनकेवा”
तथा सुपीरियर वेनकेवा कहते है बाएं अलिंद मे फेफड़ो से शुद्ध रुधिर लाने वाली पल्मोनरी शिराए आकार खुलती है
अलिंद की भित्ति, निलय की अपेक्षा पतली होती है जबकि निलय की भित्ति, अलिंद की अपेक्षा मोटी  होती है दोनों
असमान निलय आंतर निलय पट्टी (inter articulam septum)द्वारा विभाजित होते है। दाहिने आलिंद निलय छिद्र द्वारा त्रिवलन कपाट (tricuspid value) तथा बाहिने अलिंद निलय कपाट पर दुईवलन कपाट (bicuspid value) होता है।human heart
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कपाट हिर्दय रज्जुओ (chordae tendinae) द्वारा निलय भित्ति पर स्थित पेशी स्तंभो (papillary muscles)द्वारा जुड़े  रहते है। ये रक्त को विपरीत दिशा मे जाने से रोकते है।
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दाहिने निलय के अगले भाग के बाएं ओर से एक पल्मोनरी चाप या फुफ्फुशीय महाधमनी (pulmonary arch) से निकाल कर फेफड़ो को अशुद्ध कर पहुंचाती है|
निलय की गुहा मे जिस स्थान से पलमोनरी महाधमनी निकली है वह तीन अर्धचंद्राकार कपाट (semilunar value) होते है जो रक्त को निलय से पलमोनरी महाधमनी मे तो जाने देते है परंतु उसे निलय मे वापिस नही आने देते।
इसी प्रकार बाए निलय से निकलने वाली कैरोटिकों सिस्टमिक चाप के उद्दम स्थान पर भीतीन अर्धचंद्राकार कपाट होते है जो रक्त को वापिस निलय मे नही जाने देते है।human heart
हिर्दय की कार्य विधि
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हिर्दय का प्रमुख कार्य बिना थके लगातार शरीर के विभिन्न भागो तक ऑक्सीज़न रहित रक्त का संचार करना है पूरे शरीर मे छोटी बड़ी शिराए यानि वाहनियो का जाल फैला होता है जो कि हिर्दय की धमनियो से जुड़ी होती है जब हिर्दय  पम्प करता  है तब रक्त इन्ही धमनियो से होता हुआ वाहनियो के द्वारा पूरे शरीर मे संचार करता है।human heart

सबसे पहले:-

हिर्दय मे धमनी (पल्मोनरी धमनी) और शिराए(पल्मोनरी शिराए) दो प्रकार की नलिकाए होती है। धमनी मे शुद्ध रक्त बहता है जबकि शिराओ मे अशुद्ध रक्त बहता है शरीर के विभिन्न भागो से अशुद्ध रक्त शिराओ द्वारा हिर्दय को पहुंचाया जाता है,

हिर्दय इस अशुद्ध रक्त को शुद्ध करने के लिए फेफड़ो मे पहुंचाता है। फेफड़ो तक रक्त पहुंचते ही वह ऑक्सीज़न रहित हो जाता है।फिर धमनियो द्वारा रक्त पूरे शरीर मे जाता है तथा शिराओ द्वारा रक्त पुन्हा वापिस धमनियों से हिर्दय तक पाहुंचता है।human heart

पल्मोनरी धमनी मे अशुद्ध रक्त बहता है तथा पल्मोनरी शिरा मे शुद्ध रक्त बहता है। इस कार्य को सम्पन्न करने के लिए हिर्दय हर पल सिकुड़ता तथा फैलता रहता है। इस प्रकार एक मिनट मे हिर्दय 72 बार सिकुड़ता तथा संकुचित होता रहता है| हिर्दय के बार बार इसी सिकुड़ने तथा संकुचित होने को हिर्दय का धड़कना (hart beat) कहते है।human heart

यदि स्वस्थ जीवन जीना चाहते हो तो – जान लो सेहत से जुड़ी ये खास बाते –health tips in hindi

आज कल  ज़्यादातर लोग धन कमाने मे इतने व्यस्त हो गए हैं की अपनी सेहत की तरफ ध्यान ही नहीं देते।जिसके चलते मोटापा ,मधुमेह ,दिल की बीमारियाँ ,पेट की बीमारी ,जैसी नई नई छोटी बड़ी बीमारियों से घिरे जाते है .

लंबे समय तक जीवन का असली आनंद तभी ले पगोगे जब आप स्वस्थ रहोगे आपका शरीरी निरोगी रहेगा | धन तो फिर भी कमाया जा सकता है लेकिन एक बार स्वस्थ बिगड़ जाए तो बहुत मुश्किल से सुधरता है , या फिर सारी जिंदगी दवाइयों के सहारे चलना पड़ता है |इसलिए जीवन मे धन से जादा एक अच्छी सेहत का होना  जरूरी है |