Bharat ratn award list in hindi

Bharat ratn award list in hindi – भारत रत्न देश का सर्वश्रेष्ठ पुरस्कार है,जिसे देश के सर्वोच्च नागरिक को सम्मान के रूप में दिया जाता है। बता दे यह सम्मान उन लोगों को दिया जाता है,जो साहित्य,  विज्ञान,कला,राजनीति और समाज सेवा के क्षेत्र में विशेष योगदान देते हैं।

इस पुरस्कार का अधिकारी कोई भी भारतीय नागरिक हो सकता है, चाहे वह किसी क्षेत्र में योगदान करे, और भारत का मान सम्मान बढ़ाएं। ऐसे में आज के इस आर्टिकल में जानेंगे Bharat ratna award की शुरुआत कैसे हुई?

Bharat ratna award क्या है,सबसे पहले इस अवार्ड से किसे सम्मानित किया गया था? इस अवार्ड को अभी तक देश के कितने नागरिकों ने प्राप्त किया है,इनका देश के प्रति क्या योगदान था? जानेंगे सब-कुछ विस्तार से इस आर्टिकल को अंत तक जरूर पढ़ें-

 

भारत रत्न अवार्ड की शुरुआत कैसे हुई?

भारत रत्न की शुरुआत 2 जनवरी 1954 को उस समय के तत्कालीन राष्ट्रपति डॉ राजेंद्र प्रसाद द्वारा की गई। बता दे, Bharat ratna award से स्वतंत्र भारत के पहले गवर्नर रह चुके जनरल चक्रवर्ती राजगोपालाचारी को सम्मानित किया गया था।

यह सम्मान 26 जनवरी को भारत के राष्ट्रपति द्वारा दिया जाता है,आजादी के बाद ये सम्मान केवल जीवित व्यक्ति को दिया जाता था लेकिन 1955 में इस नियम को बदल दिया गया,और मरणोपरांत भी भारत रत्न दिए जाने का प्रावधान कर दिया गया।

आजादी से लेकर अभी तक कल 48 लोगों को भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया गया है, जिसमें तीन विदेशियों के भी नाम शामिल है। जानकारी के लिए बता दे खेल जगत में सचिन तेंदुलकर एकमात्र ऐसे व्यक्ति हैं, जिन्हें भारत रत्न अवार्ड सबसे कम उम्र में प्राप्त है।

 

अभी तक कितने नागरिकों को मिला भारत रत्न अवॉर्ड

अभी तक कुल 48 लोगों को भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया जा चुका है, जिसमें तीन विदेशी नागरिकों के नाम शामिल है-

 

1.डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन (5 सितंबर 1888 – 17 अप्रैल 1975)

डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन को भारत रत्न अवार्ड 1954 में प्रदान किया गया था। उन्हें यह अवार्ड भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में भाग लेने,भारतीय संविधान निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने और भारतीय शिक्षा के क्षेत्र में अहम बदलाव लाने के लिए दिया गया था।

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इसके अलावा, डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म 5 सितंबर 1888 को हुआ था, और उन्होंने अपनी जीवन में विभिन्न किताबों और ग्रंथों की रचना की जिनमें वे भारतीय दर्शन, धर्म, और शिक्षा के क्षेत्र में अपने विचारों को प्रस्तुत किया था। डा. सर्वपल्ली राधाकृष्णन स्वतंत्र भारत के पहले उपराष्ट्रपति और दूसरे राष्ट्रपति के रूप में जाने जाते हैं।

 

2- चक्रवर्ती राजगोपालाचारी (10 दिसंबर 1878 – 25 दिसंबर 1972)

चक्रवर्ती राजगोपालाचारी को भारत रत्न अवार्ड 1954 में प्रदान किया गया था। उन्हें इस अवार्ड से उनके महत्वपूर्ण सेवाओं और उनके योगदान के लिए सम्मानित किया गया। बता दें, राजगोपालाचारी जी भारत स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख नेता और महात्मा गांधी के प्रमुख सहयोगी थे। इसके अलावा, वे भारतीय संघर्ष के बाद गवर्नर-जनरल के रूप में भारतीय गणराज्य के प्रमुख पद पर सेवा करने वाले पहले व्यक्ति थे। 

 

3- डॉक्टर चंद्रशेखर वेंकटरमण ( 4 नवंबर 1888-21 नवंबर 1970)

डॉक्टर चंद्रशेखर वेंकटरमण को भारत रत्न अवार्ड 1964 में प्रदान किया गया था। डॉक्टर चंद्रशेखर वेंकटरमण भारत के एक प्रमुख वैज्ञानिक थे, जिन्होंने गणित और भौतिक विज्ञान के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। वे ब्लैक होल्स के बारे में अपने अनुसंधान के लिए प्रसिद्ध थे और “वेंकटरमण क्षेत्र” के नाम से जाने जाते हैं। इन्होंने विज्ञान के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया, कई तरह के खोज किया इसलिए इन्हें Bharat ratna award से सम्मानित किया गया। इन्होंने अपने जीवन काल में अनेक पुरस्कार प्राप्त किया जिसमें नोबेल भौतिक पुरस्कार ( 1983) शामिल है।

 

4.डॉ भगवान दास (12 जनवरी 1869-18 सितंबर 1958)

डॉ भगवान दास को सन 1955 में भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया गया था, बता दे डॉक्टर भगवान भारत के प्रमुख स्वतंत्रता संग्राम सेनानी, महान शिक्षाशास्त्री, दार्शनिक और कई संस्थाओं के संस्थापक थे। इन्होंने समाज सुधार के लिए कई अहम कदम उठाए, शिक्षा में भारत को आगे की तरफ प्रेरित करने के लिए कई लड़ाइयां लड़ी, इसलिए इन्हें भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया। इनके महानता के बारे में इसी से अंदाज़ लगा सकते हैं, जब तत्कालीन राष्ट्रपति राजेंद्र प्रसाद ने इन्हें भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया था, तब प्रोटोकॉल तोड़ते हुए, डॉ भगवान दास के पैर छुए थे।

 

5.सर डॉ• मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया (15 सितंबर, 1860-12 अप्रैल, 1962)

डॉ. मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया का जन्म 15 सितंबर 1861 को हुआ था, और इन्होंने अपने जीवन काल में भारतीय इंजीनियरिंग के क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण कार्य किए थे। जिसमें भारतीय रेलवे की मॉडर्नीकरण भी शामिल था। उन्होंने भारतीय इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत बनाने में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया,जो भारतीय समाज के लिए उपकारकारी माना जाता है। इसी कारण, उन्हें 1955 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया।

 

6.पंडित जवाहर लाल नेहरु (14 नवंबर, 1889-27 मई, 1964)

पंडित जवाहरलाल नेहरू को सन 1995 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। इन्हें भारतीय स्वतंत्रता संग्राम का महत्वपूर्ण नेता माना जाता है। और इसके अलावा इन्हें भारत का प्रथम प्रधानमंत्री का दर्जा प्राप्त है। इन्होंने स्वतंत्रता संग्राम के बाद भारत के निर्माण में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाया और प्रधानमंत्री रहते हुए देश के सामाजिक और आर्थिक विकास के लिए कई योजनाएं बनाई। इनके इसी योगदान को महत्वपूर्ण मानकर उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया था।

 

7.गोविंद वल्लभ पंत (10 सितंबर 1887-07 मार्च, 1961)

गोविंद वल्लभ पंत को सन 1957 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। उन्हें उनके भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में और उनके साहित्यिक योगदान के लिए यह सम्मान दिया गया।

बता दें गोविंद वल्लभ पंत भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महत्वपूर्ण नेता थे और उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया। उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम के दौरान महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और उन्हें पहले उत्तराखंड के मुख्यमंत्री और फिर भारतीय गणराज्य के गवर्नर के रूप में भी चुना गया। इसके अलावा वे एक प्रमुख हिंदी साहित्यकार भी थे, जिन्होंने अपने कलम से कई महत्वपूर्ण कविताएं कहानी और निबंध लिखे थे।

 

8.डॉ. धोंडो केशव कर्वे (18 अप्रैल – 1858- 09 नवंबर 

1962) –

डॉ. धोंडो केशव कर्वे को सन् 1958 में भारत रत्न देखकर सम्मानित किया गया था, उन्हें यह सम्मान उनके शैक्षिक और सामाजिक योगदान के लिए दिया गया था। डॉ. धोंडो केशव कर्वे एक प्रमुख भारतीय वैज्ञानिक और महान शिक्षक थे। उन्होंने विज्ञान और शिक्षा के क्षेत्र में अपने महत्वपूर्ण योगदान के लिए प्रसिद्धि हासिल की। इसके अलावा डॉ. धोंडो केशव कर्वे ने भारतीय वैज्ञानिक के तौर पर भारतीय अंतरिक्ष और विज्ञान के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। इसलिए इन्हें भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) के पहले प्रमुख के रूप में चुना गया था ।

 

9.डॉ० बिधन चंद्र रॉय(01 जुलाई 1882-01 जुलाई 1962)

डॉ. बिधान चंद्र रॉय एक प्रमुख भारतीय वैज्ञानिक और जाने-माने समाजसेवी थे। जिनका योगदान भारतीय समाज में अमर रहा। इन्होंने भारतीय साहित्य और संस्कृति को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रस्तुत किया और उनके विचार और काम ने भारतीय समाज को सामाजिक सुधार और साहित्यिक दृष्टि से आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। डॉ. बिधान चंद्र रॉय का योगदान भारतीय साहित्य, विज्ञान, और सामाजिक सुधार के क्षेत्र में महत्वपूर्ण था, इनके इन्हीं साहित्यिक और सामाजिक प्रयासों के लिए सन 1961 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया।

 

10.पुरूषोत्तम दास टंडन(01 अगस्त 1882-01 जुलाई 1962)

पुरूषोत्तम दास टंडन को भारत रत्न 1961 में प्रदान किया गया था। उन्हें उनके लोकसेवा और राजनीतिक योगदान के लिए सम्मानित किया गया। पुरूषोत्तम दास टंडन भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के एक प्रमुख नेता और कांग्रेस पार्टी के सदस्य थे।

उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के दौरान महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और उन्हें भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के नेतृत्व करने वाले नेताओं में से एक माना जाता है। उन्होंने स्वतंत्रता संग्राम के बाद भारतीय गणराज्य के पहले सदस्य के रूप में संसद में सेवा की और बाद में भारतीय प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की कैबिनेट में मंत्री रहे। उन्होंने भारतीय सामाजिक और आर्थिक सुधार के लिए कई महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स की नींव रखी थी। 

 

11.डॉ० राजेंद्र प्रसाद (03 दिसंबर 1884-28 फरवरी 1963)

डॉ राजेंद्र प्रसाद को सन 1962 में Bharat ratna award से सम्मानित किया गया, बता दे डॉक्टर राजेंद्र प्रसाद भारत के आध्यात्मिक गुरु और प्रथम राष्ट्रपति थे। इन्होंने महात्मा गांधी के साथ मिलकर भारतीय स्वतंत्रता संग्राम का ऐलान किया था। इन्होंने भारतीय संघटना के साथ भारतीय समाज के नैतिक और सामाजिक मूल्यों की रक्षा की और विभिन्न सामाजिक प्रोजेक्ट्स के माध्यम से भारतीय लोगों की कल्याण के लिए काम किया,इसलिए इन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया।

 

12- डॉ जाकिर हुसैन ( 8 फरवरी 1897-3 मई 1969)

जाकिर हुसैन भारत के पहले ऐसे मुस्लिम व्यक्ति थे, जिन्हें सर्वप्रथम उनके बेहतरीन कार्यों के लिए सन 1963 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया। बता दे जाकिर हुसैन एक शांति प्रिय व्यक्ति थे जो सभी धर्मों के लोगों को एकता के साथ रहने के लिए प्रमोट करते थे। डॉ जाकिर हुसैन का जन्म 8 फरवरी 1897 को हैदराबाद में हुआ था। उन्होंने 1920 में महात्मा गांधी द्वारा चलाए गए असहयोग आंदोलन में साथ देने के लिए सक्रिय रूप से कॉलेज का बहिष्कार किया था। यहां तक कि उस समय के तत्कालीन प्रिंसिपल ने इन्हें पद का लालच दिया। फिर भी उन्होंने देश सेवा ही परम धर्म माना, और उनके प्रस्ताव को ठुकरा दिया। आगे चलकर भारत के प्रथम मुस्लिम राष्ट्रपति भी बने थे। उनके इन्हीं योगदानों की वजह से सन 1963 मे भारत रत्न और 1954 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था।

 

13.डॉक्टर पांडुरंग वामन काणे (07 मई 1880-08 मई 1972)

डॉक्टर पांडुरंग वामन काणे को भारत रत्न से 1992 में सम्मानित किया गया था, उन्होंने विज्ञान और तकनीकी क्षेत्र में जो योगदान दिया था उसके लिए इन्हें इस अवार्ड से सम्मानित किया गया। डॉक्टर काणे एक मान्यता प्राप्त गणितज्ञ और शिक्षाविद् थे, और उन्होंने भारतीय गणित में महत्वपूर्ण योगदान किया। उन्होंने विभिन्न शैक्षिक संस्थानों में उच्च शिक्षा और शोध की दिशा में काम किया और अनुसंधान और गणित साहित्य के क्षेत्र में  महत्वपूर्ण योगदान दिया।

 

14.लाल बहादुर शास्त्री (02 अक्टूबर 1904-11 जनवरी 1966)

लाल बहादुर शास्त्री को 1966 में Bharat ratna award से सम्मानित किया गया। क्योंकि वे भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख नेता थे इसके अलावा सन 1964 में भारत के प्रधानमंत्री भी रह चुके थे। प्रधानमंत्री पद पर रहते हुए लाल बहादुर शास्त्री ने देश के विकास में कई महत्वपूर्ण योगदान दिया। किसानों के हित के लिए जय जवान जय किसान का नारा दिया, सन 1965 में भारत-पाक युद्ध के दौरान भारतीय सैनिकों के मनोबल बढ़ाने के लिए उन्हें प्रोत्साहित किया। 

 

15- इंदिरा गांधी ( 19 नवंबर 1917- 31अक्टूबर 1984)

इंदिरा गांधी भारत किस सर्वप्रथम महिला प्रधानमंत्री थीं जिन्हें 1971 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया। क्योंकि उन्होंने भारतीय समाज और राजनीति में महत्वपूर्ण योगदान दिया था। बता दे जब इंदिरा गांधी 1971 में प्रधानमंत्री बनी, तब उन्होंने बांग्लादेश को पाकिस्तान से मुक्त किया, और उन्हें एक अलग देश बनने के लिए समर्थन दिया। इंदिरा गांधी ने राजनीतिक पद पर रहते हुए, गरीबों के विकास और भारत आधुनिकरण को लेकर कई अहम कदम उठाए। इसके साथ ही देश के सेंना को भी इन्होंने मजबूत किया, आज के दौर में भी इन्हें भारत का सबसे प्रभावशाली महिला नेता माना जाता है।

 

16- वराहगिरी वेंकटागिरी (10 अगस्त 1894 – 23 जून 1980)

वराहगिरी वेंकटागिरी को सन 1975 में भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया गया था, इनको भारत के चौथे राष्ट्रपति के रूप में भी जाना जाता है। इनका राष्ट्रपति कार्यकाल 24 अगस्त 1969 से लेकर 24 अगस्त 1974 तक रहा था। इस दौरान इन्होंने देश के विकास में कई महत्वपूर्ण योगदान दिया। इसके अलावा इन्होंने  देश की आजादी के लिए स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लिया था, अंग्रेजों भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान जेल में भी गए थे। इनके इसी योगदान को देखते हुए, सन 1974 में भारत रत्न दिया गया था।

 

17.के. कामराज (15 जुलाई 1903-1975)

के.कामराज भारत के प्रमुख स्वतंत्रता सेनानी और तमिलनाडु के मुख्यमंत्री भी रह चुके थे,जिन्हें सन 1976 में भारत रत्न अवार्ड से सम्मानित किया गया। इन्होंने शिक्षा और योजनाओं के माध्यम से गरीबों और पिछड़ों को आगे बढ़ने का अवसर दिया। के.कामराज भारतीय राजनीति के सबसे निस्वार्थ व्यक्ति थे, जिन्होंने अपना पूरा जीवन समाज कल्याण में लगा दिया। इनके इसी महत्वपूर्ण योगदान के लिए भारत रत्न दिया गया।

 

18- मदर टेरेसा (27 अगस्त, 1910-05 सितंबर, 1997)

मदर टेरेसा को सन 1980 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था,क्योंकि उन्होंने अपने जीवन में मानवता की सेवा की थी और गरीबों, असहाय और असक्षम लोगों के लिए काम किया था।मदर टेरेसा, जिनका जन्म आलबेनिया में हुआ था, इन्होंने गरीबों और असहायों का सेवा कार्य वाराणसी में जाकर शुरू किया था। इन्होंने एक संघ का संस्थापना किया जिसका नाम “मिशनरीज ऑफ चैरिटी” था और इसका मुख्य उद्देश्य गरीब, असहाय और असहमत लोगों की मदद करना था। 

 

19.आचार्य विनोबा भावे (11 सितंबर 1895 15 नवंबर 1982)

आचार्य विनोबा भावे को सन 1983 में भारत के सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया, ये भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महान समाजसेवी और आचार्य थे।इन्होंने भूदान आन्दोलन का नेतृत्व किया था, इस आंदोलन के तहत यह गरीबों और वंचितों को भूमि दिलाने का काम करते थे। इनका जीवन समाज में सुधार लाने और समाज को एक करने के लिए समर्पित था। 

 

20.खान अब्दुल गफ्फार खान (06 फरवरी 1890-20 जनवरी, 1988)

अब्दुल गफ्फार खान पहले गैर भारतीय नागरिक थे, जिन्हें 1987 में इनके नेक कार्यों के लिए भारत रत्न देकर सम्मानित किया गया। अब्दुल गफ्फार खान ने महात्मा गांधी के असहयोग आंदोलन से जुड़कर, उनका साथ दिया। इसके अलावा समाज सेवा करते हुए गरीबों के अधिकारों का सम्मान किया। उन्हें अपना हक दिलाया। अब्दुल गफ्फार खान का जन्म पाकिस्तान के पश्तुन परिवार में 6 फरवरी 1890 को हुआ था। 

 

21- मारुदुर गोपालन रामचन्द्रन(17 जनवरी 1917- 24 दिसम्बर 1987)

मारुदुर गोपालन रामचन्द्रन तमिल सिनेमा के महान अभिनेता थे, और इसके अलावा तमिलनाडु के मुख्यमंत्री भी रह चुके थे। साथी राजनीति के क्षेत्र में इनका महत्वपूर्ण योगदान भी रहा, यह एक परोपकारी और मानवतावादी के आइकॉन थे। इसलिए इन्हें मरणोपरांत 19 मार्च 1988 को भारत रत्न द्वारा सम्मानित किया गया।

 

22.डॉ0 भीमराव अम्बेडकर (14 अप्रैल 1891-06 दिसम्बर 1956)

भारत देश के प्रति डॉ भीमराव अंबेडकर का अतुल्यनीय सहयोग रहा है, इन्होंने भारत देश को कानून की राह दिखाई थी और संविधान लिखा था। इन्होंने समाज सुधार और दलितों के अधिकार के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए थे। समाज में दलितों को बराबर का दर्जा दिलाने के लिए, इन्हें कानूनी हक प्रदान किया था। इसलिए डॉक्टर भीमराव अंबेडकर के मरणोपरांत  उपरांत सन 1990 में भारत रत्न देकर सम्मानित किया गया।

 

23.नेल्सन मंडेला (18 जुलाई, 1918 – 05 दिसम्बर, 2013)

नेल्सन मंडेला एक महान नेता होने के साथ अध्यक्ष अफ्रीका के राष्ट्रपति भी थे, जिन्होंने रंगभेद के खिलाफ आंदोलन चलाया था। इस काम के लिए इन्हें कई बार जेल भी जाना फिर अपने लक्ष्य से पीछे नहीं हटे। रंगभेद आंदोलन चलाए जाने के दौरान कई देश का ध्यान इनके ऊपर गया। इसी क्रम भारत ने भी इनके इस सराहनीय कार्य के लिए सन 1990 में सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न देकर सम्मानित किया। ये विदेश के दूसरे ऐसे नागरिक थे जिन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया था।

 

24.राजीव गांधी (20 अगस्त 1944 – 21 मई 1991)

राजीव गांधी के मरणोपरांत 25 जुलाई 1991 को भारत रत्न देकर सम्मानित किया गया। उन्हें यह सम्मान प्रधानमंत्री पद के कार्यकाल में देश के विकास और उन्नति के राह पर ले जाने के लिए दिया गया। बता दे राजीव गांधी देश के पहले ऐसे प्रधानमंत्री थे, जिन्होंने नाभिकीय ऊर्जा के क्षेत्र में भारत को मजबूत बनाया और ग्रामीण विकास के लिए कई सारी योजनाएं बनाई।

 

25.सरदार वल्लभ भाई पटेल (31 अक्टूबर, 1875 – 15 दिसम्बर 1950)

सरदार वल्लभभाई पटेल को उनके मरणोपरांत 1991 में भारत रत्न दिया गया। क्योंकि यें भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के सबसे महत्वपूर्ण नेता थे। इन्होंने सभी राज्यों का एकीकरण करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाया था, और भारत देश का पहला गृह मंत्री भी रह चुके थे, इसलिए इन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया। देश के प्रति इनके महत्वपूर्ण योगदान को लेकर दुनिया आज भी इन्हें लोह पुरुष के नाम से जानती है।

 

26.मोरारजी देसाई (29 फ़रवरी 1896-10 अप्रैल 1995)

मोरारजी देसाई को भी 1991 में भारत रत्न से नवाजा गया था, मोरारजी देसाई प्रधानमंत्री के पद पर रहते हुए, भारतीय समाज में सामाजिक और आर्थिक सुधार के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए थे। अन्याय और भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ें साथ ही गरीबों का हक दिलाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए।

 

27.मौलाना अबुल कलाम आज़ाद (11 नवंबर, 1888-22 फरवरी, 1958)

 मौलाना अबुल कलाम आज़ाद को 1992 में भारत रत्न से नवाजा गया। क्योंकि ये स्वतंत्रता संग्राम के महत्वपूर्ण नेता होने के साथ-साथ भारतीय शिक्षा और सांस्कृतिक धरोहर को प्रोत्साहित करने के लिए जाने जाते थे। इन्होंने ही 15 अगस्त के दिन स्वतंत्रता दिवस मनाने का प्रस्ताव रखा था। इन सभी कारणों से, मौलाना अबुल कलाम आज़ाद को भारत रत्न से सम्मानित किया गया।

 

२८। जे. आर. डी. टाटा (29 जुलाई 1904-29 नवंबर 1993)

जे. आर. डी. टाटा को 1992 में भारत रत्न देखकर सम्मानित किया गया। क्योंकि इन्होंने भारतीय उद्योग और समाज के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए थे। जेआरडी टाटा ने विभिन्न क्षेत्रों में उद्योग और वित्तीय सेवाओं में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जिससे भारत के विकास में गति मिली। 

 

29.सत्यजीत राय (02 मई, 1921-23 अप्रैल, 1992)

सत्यजीत राय भारतीय फिल्म के निर्माता और निर्देशक थे, जिन्होंने सिनेमा के इतिहास में उपन्यासों और कहानियों के ऊपर कई शानदार फिल्में बनाई। सत्यजीत राय अपने फिल्मों के माध्यम समाज को एक आईना दिखाने का काम करते थे।

इनके इसी योगदान की वजह से इन्हें 1992 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया। 

 

30.एपीजे अब्दुल कलाम (15 अक्टूबर 1931- 27 जुलाई 2015)

डॉ. ए. पी. जे. अब्दुल कलाम को भारत रत्न का पुरस्कार 1997 में दिया गया था। इन्होंने भारतीय अंतरिक्ष और डिफेंस क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निभाया था, जिसके लिए इन्हें मिसाइल मैन के रूप में जाना जाता है। इसके अलावा ये 2002 से लेकर 2007 तक भारत के राष्ट्रपति भी रहे।

 

31.गुलजारी लाल नंदा (04 जुलाई 1898-15 जनवरी 1998)

गुलजारीलाल नंदा एक प्रमुख हिन्दी कवि और लेखक थे, इन्होंने अपने रचनाओं के माध्यम से हिन्दी साहित्य को नया दिशा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाया। इनकी कविताएँ और कहानियाँ सामाजिक और मानविक मुद्दों पर आधारित होती थीं, जो समाज सुधार के लिए काफी उपयोगी थी, इसलिए इन्हें 1997 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया।

 

32.अरुणा आसफ अली (16 जुलाई, 1909-29 जुलाई,1996)

अरुणा आसफ अली भारत के प्रमुख न्यूरोलॉजिस्ट थे। जिन्होंने भारत चिकित्सक क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया था।‌ भ्रूण तंतु विज्ञान के क्षेत्र में कई अनुसंधान किये, जिसकी वजह से इनके मरणोउपरांत इनके योगदान को समझते हुए सन 1997 में भारत रत्न देकर नवाजा गया। 

 

33.एम. एस.सुब्बुलक्ष्मी (16 सितंबर, 1916- 11 दिसम्बर 2004)

म. एस. सुब्बुलक्ष्मी को भारत रत्न 1998 में प्रदान किया गया था। उन्हें इस महान योग्यता के लिए सम्मानित किया गया क्योंकि वे एक प्रमुख भारतीय शास्त्रीय गायक और कर्नाटक संगीत के प्रतिष्ठित कलाकार थे। जिन्होंने अपने कौशल और योग्यता के साथ संगीत की दुनिया में महत्वपूर्ण योगदान किया था।

 

34.सी. सुब्रामनीयम (30 जनवरी 1910-07 नवंबर 2000)

सी. सुब्रामनियम को भारत रत्न सन 1998 में भारत रत्न देकर सम्मानित किया गया था, क्योंकि वे एक प्रमुख भारतीय वादक और संगीतकार थे और उन्होंने अपने संगीतीय प्रतिभा और योग्यता के साथ भारतीय संगीत को विश्व में प्रस्तुत किया। उनका योगदान भारतीय संगीत के क्षेत्र में महत्वपूर्ण रहा, जिसके लिए उन्हें इस महान उपाधि से नवाजा गया।

 

35.जयप्रकाश नारायण (11 अक्टूबर, 1902-08 अक्टूबर 1979) 

जयप्रकाश नारायण कों मरणोपरांत लगभग 19 साल बाद सन 1998 में भारत रत्न से नवाजा गया। क्योंकि वे भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के प्रमुख नेता और महात्मा गांधी के साथी थे। उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के दौरान महत्वपूर्ण भूमिका निभाया था, और देश की आजादी के लिए अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई लड़ी थे।

 

36.पंडित रवि शंकर (07 अप्रैल 1920-12 दिसम्बर, 2012)

पंडित रवि शंकर को भारत रत्न 1999 में प्रदान किया गया था। उन्हें इस सम्मान के साथ सम्मानित किया गया क्योंकि वे भारतीय संगीत के प्रमुख संगीतकार और सितार वादक थे और उन्होंने अपने कौशल और योग्यता के साथ भारतीय संगीत को विश्व में प्रस्तुत किया। उनका योगदान भारतीय संगीत के क्षेत्र में महत्वपूर्ण था, और उन्हें इस महान उपलब्धि के लिए सम्मानित किया गया।

 

37.अमर्त्य सेन (03 नवंबर 1933-अब तक)

अमर्त्य सेन 1999 में भारत रत्न लेकर सम्मानित किया गया था, क्योंकि प्रोफेसर अमर्त्य सेन ने कल्याणकारी अर्थशास्त्र के बुनियादी समस्याओं को लेकर कई महत्वपूर्ण खोज किए थे। इसके अलावा इन्होंने भारत से  गरीबी और भुखमरी को दूर करने के लिए कई महत्वपूर्ण आइडिया इजाद किया था। इन विषयों पर काम करने के लिए इन्हें भारत रत्न के अलावा 1998 में नोबेल पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया था।

 

38.गोपीनाथ बोरदोलोई (1890-1950)

गोपीनाथ बोरदोलोई को सन 1999 में भारत रत्न से नवाजा गया था, उन्हें इस उपाधि से सम्मानित किया गया क्योंकि 

स्वतंत्रता संग्राम के समय नेताजी सुभाष चंद्र बोस के नेतृत्व में भारतीय फौज में भाग लिया और उनके साथ नेतृत्व किया। इन्होंने बर्मा में भारतीय आजादी सेना की सहायता की और स्वतंत्रता संग्राम के लिए योगदान किया।

 

39.लता मंगेशकर ( (28 सितंबर, 1929 – 6 फ़रवरी 2022)

लता मंगेशकर ने भारतीय संगीत में महत्वपूर्ण योगदान दिया था, बता दे कि इन्हें  स्वर जगत का कोकिला कहा जाता हैं। भारतीय संगीत में उनके योगदान के लिए सन 1993 में फिल्म फेयर का लाइफटाइम अचीवमेंट,और 1999 में पद्मभूषण से सम्मानित किया गया। वही 2001 में इन्हें भारत का सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न से नवाजा गया।

 

40- उस्ताद बिस्मिल्ला खां (21 मार्च 1916-21 अगस्त 2006)

उस्ताद बिस्मिल्ला खां को भारत रत्न 2091 में दिया गया था। उन्हें यह सम्मान उनके संगीत योगदान के लिए दिया गया। बता दे, उस्ताद बिस्मिल्लाह खान एक संगीत वादक जो मधुर आवाज में शहनाई बजाने के लिए जाना जाते थे। उस्ताद बिस्मिल्लाह खां ने प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के अनुरोध पर आजादी की पूर्व संध्या पर आयोजित कार्यक्रम में शहनाई बजाई थी। 

 

41.पंडित भीमसेन जोशी ((04 फरवरी 1922 – 05 जनवरी  2011)

पंडित भीमसेन जोशी एक प्रमुख भारतीय शास्त्रीय संगीतकार और विद्वान थे, इन्होंने अपने पूरे जीवनकाल में भजन गायन के माध्यम से भारतीय संगीत को प्रमोट किया। इसलिए इन्हें भारतीय गवर्नमेंट ने सन 2008 भारत रत्न देखकर सम्मानित किया।

 

42.सी० एन० आर० राव (30 जून 1934 – अब तक)

सी० एन० आर० राव को 4 फरवरी 2014 को भारत रत्न देकर नवाजा गया, इससे पहले इन्हें भारतीय गवर्नर द्वारा पद्म भूषण और पदम श्री से भी सम्मानित किया जा चुका था। क्योंकि इन्होंने संरचनात्मक रसायन विज्ञान के क्षेत्र में और सामग्रियों की ठोस अवस्थाओं को लेकर, महत्वपूर्ण शोध किया था। एक भारतीय वैज्ञानिक के तौर पर प्रौद्योगिकी दुनिया में इनका महत्वपूर्ण योगदान रहा है।

 

43.सचिन तेंदुलकर ((24 अप्रैल, 1973-अभी तक)

क्रिकेट जगत के सबसे महान हस्ती सचिन तेंदुलकर को 2014 में भारत रत्नाकर सम्मान किया गया था, क्योंकि क्रिकेट की दुनिया में इन्होंने भारत को गौरवान्वित करने का काम किया है। क्रिकेट के दुनिया में कई ऐसे रिकॉर्ड बनाए हैं, जिसे दुनिया के  किसी भी दूसरे क्रिकेटर द्वारा तोड़ पाना लगभग नामुमकिन है।

 

44.अटल बिहारी वाजपेयी (25 दिसंबर 1924-16 अगस्त 2018)

अटल बिहारी वाजपेयी को भारत रत्न, भारतीय सियासत में उनके महत्वपूर्ण योगदान और प्रधानमंत्री के रूप में देश को विकास की ऊंचाई तक ले जाने के लिए समर्पित किया गया। उन्हें 2015 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था, अटल बिहारी वाजपेई ने भारतीय अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए “आत्मनिर्भर भारत” की मांग को प्रोत्साहित किया था।

 

45.मदन मोहन मालवीय (25 दिसंबर 1861 – 12 नवंबर 1946)

मदन मोहन मालवीय को उनके मरणोपरांत सन् 25 दिसंबर 2015 को भारत रत्न से सम्मानित करने के लिए घोषणा की गई।क्योंकि उन्होंने भारतीय शिक्षा और संस्कृति के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान किया था। शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय का सन् 1916 में स्थापना किया था।

 

46.नानाजी देशमुख (11 अक्टूबर 1916- 27 फ़रवरी 2010)

नानाजी देशमुख को मरणोपरांत 2019 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया, क्योंकि ये राजनीतिक पद पर रहते हुए शोषित और दलितों के हक के लिए लड़े थे। बता दे जब 1977 में जनता पार्टी की सरकार बनी, तब मोराजी देसाई ने इन्हें मंत्रिमंडल पद देने के बाद कही थी, लेकिन समाज सेवा के लिए नानाजी देशमुख ने इस पद को ठुकरा दिया।

 

47.भूपेन हजारिका (8 सितंबर 1926 – 5 नवंबर 2011)

भूपेन हजारिका को 2019 में मरणोपरांत भारत रत्न देकर नवाजा गया,क्योंकि वे एक प्रमुख भारतीय संगीतकार और गायक थे,उन्होंने असमीया संगीत को मॉडर्न और पॉप्युलर संगीत से जोड़कर एक नई दिशा दी और असम के संस्कृति को प्रमोट करने का काम किया था।

 

48- पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी (11 दिसंबर 1935-31 अगस्त 2020)

पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को 2019 में भारत रत्न से सम्मानित किया गया था, क्योंकि उन्होंने लंबे समय तक भारत राजनीति में अहम योगदान दिया था। और इसके साथ ही विभिन्न राजनीतिक पद रक्षा मंत्री,वित्त मंत्री रहते हुए, देश को विकास की राह पर ले जाने का काम किया था।

 

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